टैक्स वसूली के बावजूद दिल्ली को नहीं मिल रहा हक का पैसा : आतिशी
नेता प्रतिपक्ष ने केंद्र सरकार पर वित्तीय भेदभाव का आरोप लगाया-----------850 करोड़ तीन साल से नहीं मिलेअमर उजाला ब्यूरोनई दिल्ली। विधानसभा में वित्त मामलों से जुड़ी कैग रिपोर्ट पर नेता प्रतिपक्ष आतिशी ने केंद्र सरकार पर वित्तीय भेदभाव का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि दिल्ली के लोग हर साल करीब 2.25 लाख करोड़ रुपये टैक्स के रूप में केंद्र को देते हैं लेकिन बदले में दिल्ली को महज 850 करोड़ रुपये ही मिलते हैं जो बीते तीन वर्षों से नहीं मिले हैं।भाजपा कैग रिपोर्ट के जरिए आप सरकार को विफल दिखाने की कोशिश कर रही है जबकि सच्चाई यह है कि दिल्ली का टैक्स रेवेन्यू हर साल बढ़ा है। 2021-22 में दिल्ली का ऑन टैक्स रेवेन्यू 40,119 करोड़, 2022-23 में 47,363 करोड़ और 2023-24 में 53,681 करोड़ रहा जो अर्थव्यवस्था की मजबूती को दर्शाता है। आतिशी ने तुलनात्मक आंकड़े रखते हुए कहा कि महाराष्ट्र केंद्र को 7.6 लाख करोड़ टैक्स देता है और बदले में 52,000 करोड़ मिलते हैं। दिल्ली को केवल 850 करोड़ ही मिलते हैं। दिल्ली को केंद्र से शेयरिंग टैक्स के तहत कभी इनकम टैक्स का हिस्सा नहीं मिला। अब जब दिल्ली में भाजपा की चार इंजन वाली सरकार है तो मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता को चाहिए कि वे केंद्र से 50,000 करोड़ रुपये दिल्ली के हिस्से के टैक्स के रूप में लेकर आएं। विधानसभा में जब आतिशी ने यह आंकड़े रखने शुरू किए तो भाजपा विधायकों ने हंगामा किया। इसके बाद स्पीकर माइक बंद करवा दिया। आतिशी ने इसे विपक्ष की आवाज दबाने की कोशिश बताया।
- Source: www.amarujala.com
- Published: Aug 07, 2025, 21:17 IST
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