यूपी: अयोध्या की सरयू नदी में छोड़े जाएंगे कछुए, घाघरा-गंगा में लाए जाएंगे घड़ियाल; इसलिए हुआ ये फैसला
यूपी का वन्यजीव विभाग अयोध्या में श्रद्धालुओं को कछुओं के दर्शन के खास इंतजाम कर रहा है। डेढ़ साल पहले अजमेर-सियालदह एक्सप्रेस से तस्करी करके ले जाए जा रहे 29 कछुए प्रजाति के इन कछुओं और घड़ियाल के शावकों को लखनऊ में रखा गया। वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि कछुओं के शावक अब नदी में छोड़े जाने के योग्य हो चुके हैं। इसलिए इन्हें नवंबर माह में ही सरयूजी में छोड़ दिया जाएगा। जबकि, अभी घड़ियाल के शावकों की लंबाई दो मीटर से कम होने के कारण ये नदी में छोड़े जाने लायक नहीं हुए हैं। क्यों माना जाता है कछुओं का दर्शन शुभ कूर्म अवतार भगवान विष्णु का दूसरा अवतार माना जाता है, जिसमें वे कछुए (कूर्म) के रूप में प्रकट हुए थे। यह अवतार समुद्र मंथन की घटना के दौरान लिया गया था, ताकि मंदराचल पर्वत को सहारा दिया जा सके, जो मंथन के लिए मथनी का काम कर रहा था। इस तरह उन्होंने देवताओं को समुद्र से अमृत और अन्य चौदह रत्नों को प्राप्त करने में मदद की।
- Source: www.amarujala.com
- Published: Nov 02, 2025, 08:43 IST
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