Bareilly News: ढाई साल पहले उजाड़ा आशियाना, अब छीन रहे अस्थायी ठिकाना, बिचपुरी के लोगों ने बताया दर्द

बरेली में बुजुर्ग अशर्फी देवी और मीरा देवी को ढाई साल पहले तबाही का वह मंजर आज भी याद है। तब बरेली विकास प्राधिकरण (बीडीए) ने बिचपुरी गांव की नई बस्ती को बुलडोजर से रौंद दिया था। 250-300 घर जमींदोज कर परिवारों को बेघर कर दिया था। अब उनसे अस्थायी ठिकाना भी छीना जा रहा है तो उनका जख्म फिर हरा हो गया है। रामगंगानगर आवासीय योजना के सेक्टर-एक में नागरिक सुविधओं की पड़ताल के दौरान मिलीं महिलाओं ने अपना दर्द बयां किया। उन्होंने कहा कि बीडीए की कार्रवाई से बेघर हुए 50 परिवार सेक्टर-एक में पानी की टंकी के पास बने ब्लॉकों में अस्थायी तौर पर रह रहे हैं। अब वहां से भी उन्हें खदेड़ने का दबाव बना रहे हैं। 15-20 दिन पहले बिजली काट दी गई है। लोग गंदगी और झाड़-झंखाड़ के बीच रहने के लिए विवश हैं। खाली भूखंडों में पड़ा कूड़ा दुर्गंध फैला रहा है। खंभों पर लगीं लाइटें अरसे से खराब हैं। खाली भूखंडों में गंदगी और जलभराव है। बड़ी-बड़ी घास उग आई हैं। मवेशियों का जमावड़ा रहता है। यहां की अधिकतर सड़कें क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। मुख्य मार्ग भी कूड़ा घर में तब्दील हो गया है। बीडीए सचिव वंदिता श्रीवास्तव ने कहा कि सेक्टर एक के ब्लॉकों में रह रहे परिवारों की बिजली बीडीए ने नहीं काटी है। यह कार्रवाई विद्युत निगम ने की होगी। जिनके मकान तोड़े गए, उन्हें हमने रियायती दर पर प्लॉट दे रखे हैं। वह मकान में बनाए और रहें। कौन कह रहा है कि उनके प्लॉट की पैमाइश नहीं हुई है। कोई शिकायत नहीं है तो लोग हमारे पास आएं।

  • Source: www.amarujala.com
  • Published: Aug 24, 2025, 06:17 IST
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