Congress: नए जिलाध्यक्ष के चयन में नहीं चलेगी सीनियर नेताओं की मनमर्जी, संगठन सृजन को कांग्रेस दे रही ऐसी धार
कांग्रेस नेता और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के ड्रीम प्रोजेक्ट संगठन सृजन अभियान इन दिनों कई राज्यों में चलाया जा रहा है। इसी अभियान के तहत 2028 के विधानसभा चुनाव वाले राज्यों के संगठन को दुरुस्त करने का काम शुरू हो चुका है। नवंबर के पहले सप्ताह में राजस्थान, छत्तीसगढ़ और तेलंगाना के सभी जिलाध्यक्ष बदल जाने की योजना तैयार की गई है। इसमें सबसे अहम यह है कि इन राज्यों के जिला अध्यक्षों की नियुक्ति में प्रदेश अध्यक्ष और विधायक दल के नेता की भूमिका नगण्य कर दी गई है। हाल ही में कांग्रेस संगठन सृजन अभियान के तहत तीनों राज्यों के पर्यवेक्षकों की बैठक कांग्रेस के इंदिरा गांधी भवन में हुई। इसमें कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, संगठन महासचिव के.सी.वेणुगोपाल समेत तीनों राज्यों के वरिष्ठ नेता शामिल हुए। बैठक शामिल में एक नेता ने नाम न छापने के अनुरोध पर बताया कि,इस बैठक में सभी पर्यवेक्षकों को संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने जिला अध्यक्षों के चयन प्रक्रिया समझाई और विस्तार से अभियान की जानकारी दी। राज्यों सभी पर्यवेक्षक दशहरे के बाद अपने प्रभार वाले राज्यों में जाएंगे। सभी पहले सभी जिलों के कार्यकर्ताओं और नेता से चर्चा करेंगे। इसके बाद छह नामों का पैनल तैयार कर प्रदेश प्रभारी से चर्चा के बाद कांग्रेस आलाकमान को अपनी रिपोर्ट सौंपेगे। सभी पर्यवेक्षकों को अक्टूबर के अंतिम सप्ताह तक यह काम पूरा करना होगा। इसके बाद पार्टी नवंबर के पहले सप्ताह तक नए जिलाध्यक्षों के नाम घोषित कर सकेगी। कांग्रेस के संगठन महासचिव के.सी. वेणुगोपाल का कहना है कि, संगठन सृजन कार्यक्रम के तहत आम कार्यकर्ताओं सहित पूरी पार्टी और जिला कांग्रेस कमेटी अध्यक्षों की नियुक्ति की निर्णय लेने की प्रक्रिया में शामिल है। अब जिला अध्यक्षों के पास पहले की तुलना में अधिक शक्तियां होंगी। संगठन सृजन की प्रक्रिया गुजरात से शुरू होकर और चार राज्यों में पूरी हो चुकी है। अब तक 144 जिला अध्यक्ष नियुक्त किए जा चुके हैं। इस अभियान के पहले चरण के दायरे में 10 राज्य आएंगे। पूर्व केंद्रीय मंत्रियों, पीसीसी अध्यक्षों और महासचिवों को जिला पर्यवेक्षकों के रूप में नियुक्त किया जा रहा है। अमर उजाला से चर्चा में कांग्रेस पार्टी के प्रवक्ता सुरेंद्र राजपूत कहते है कि, कांग्रेस नेता राहुल गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के मंशा के अनुरूप पूरे देश में संगठन को नए सिरे से खड़ा करने की रणनीति बनाई गई है। इस अभियान का उद्देश्य न केवल संगठन को मजबूत करना है, बल्कि जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं को नेतृत्व में अवसर देना भी है। कांग्रेस संगठन सृजन तहत कार्यक्रम के तहत देश के हर राज्य के हर गांव में पहुंच रही है। हमारे कार्यकर्ता महिला, किसान, आदिवासी, पिछड़े और दलित के घर घर जाकर संगठन का निर्माण कर रहे है। यह अब तक का सबसे प्रभावशाली कार्यक्रम है। इसी के कारण हम वोट चोरों को गद्दी छोड़ने पर मजबूर कर रहे है। अभी तक यहां तक पहुंचा है कांग्रेस का संगठन सृजन अभियान पहले चरण में 10 राज्यों में नए सिरे से संगठन निर्माण की चल रही है। इनमें 4 राज्यों में यह पूरी हो चुकी है। 03 राज्यों में जिला अध्यक्षों की नियुक्ति हो चुकी है। 04 अन्य राज्यों में लगभग संगठन सृजन का काम पूरा हो चुका है 274 जिले कवर किए जा चुके हैं 144 जिलाध्यक्षों की घोषणा हो चुकी है 2026 तक पूरी करना है प्रक्रिया कांग्रेस पार्टी में ब्लॉक और मंडल स्तर पर भी नई नियुक्तियां और प्रशिक्षण का कार्यक्रम चलाया जा रहा है कांग्रेस की योजना है कि 2026 की शुरुआत तक सभी राज्यों में यह प्रक्रिया पूरी कर ली जाए और प्रशिक्षण कार्यक्रम स्थायी समर्थन व मॉनिटरिंग ढांचे में बदला जाए। कांग्रेस पार्टी का कहना है कि, इस अभियान से पार्टी की गुटबाजी खत्म हो रही है। समाज के वंचित वर्गों और युवाओं को बड़ा अवसर मिल रहा है। संगठन सृजन अभियान के तहत नए जिलाध्यक्षों और शहर अध्यक्षों में युवा, ओबीसी , एससी, एसटी, अल्पसंख्यक और महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़ाया गया है। ओबीसी श्रेणी में प्रतिनिधित्व 24 प्रतिशत से बढ़कर 33 प्रतिशत, एससी श्रेणी में 4 प्रतिशत से 12 प्रतिशत, एसटी श्रेणी में 6 प्रतिशत से 12 प्रतिशत और अल्पसंख्यक श्रेणी में प्रतिशत से 9 प्रतिशत हो गया है। युवाओं की हिस्सेदारी भी बढ़ी है 50 साल से कम उम्र के अध्यक्ष अब 51 फीसदी तक पहुंच चुके हैं। अमर उजाला से चर्चा में कांग्रेस के अल्पसंख्यक विभाग के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अनुरोध ललित जैन का कहना है कि, पार्टी ने इस साल की शुरुआत में गुजरात से संगठन सृजन अभियान का आगाज किया है। कांग्रेस पार्टी जिला अध्यक्षों को पहले से अधिक ताकत देने जा रही है। इस संगठन सृजन अभियान से नई ऊर्जा, युवा नेतृत्व और वंचित वर्गों की हिस्सेदारी बढ़ने से संगठन की पकड़ मजबूत होगी। इससे आगामी चुनावी मुकाबलों में पार्टी को निर्णायक बढ़त मिल सकती है। दरअसल,कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और राहुल गांधी की पहल पर 2025 को संगठन निर्माण वर्ष घोषित किया गया है। अभियान का मकसद जिला कांग्रेस कमेटियों से लेकर बूथ स्तर तक पार्टी को सक्रिय करना और संगठन को जवाबदेही के नए पैमाने पर खड़ा करना है। गुजरात, मध्य प्रदेश और हरियाणा जैसे तीनों राज्यों में यह प्रक्रिया हो चुकी है। गुजरात के 41, मध्य प्रदेश के 71 और हरियाणा के 32 जिलों में नए जिलाध्यक्षों और शहर अध्यक्षों की नियुक्ति हो चुकी है। इन नेताओं के लिए दो चरणों में प्रशिक्षण शिविर लगाए गए, जिनमें कांग्रेस विचारधारा, बूथ प्रबंधन, डिजिटल टूल्स, फंड रेजिंग और जनता से जुड़ाव पर विशेष सत्र हुए है। पार्टी ने संगठन सृजन अभियान का निर्णय दिसंबर 2024 में कर्नाटक में आयोजित कांग्रेस अधिवेशन में लिया गया था।
- Source: www.amarujala.com
- Published: Sep 27, 2025, 17:51 IST
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